भारत की पहली इलेक्ट्रिक ट्रेन कब चली | First Electric Train in India

First Electric Train in India: हाल के वर्षों में आयातित पेट्रोलियम आधारित ऊर्जा पर राष्ट्र की निर्भरता को कम करने और परिवहन के पर्यावरण अनुकूल, तेज और ऊर्जा कुशल मोड प्रदान करने की दृष्टि से, देश की ऊर्जा सुरक्षा को बढ़ाने के उद्देश्य से रेलवे विद्युतीकरण पर बहुत जोर दिया गया है| अपने सभी मार्गों का विद्युतीकरण करने को अग्रसर भारतीय रेलवे ने 1957 में विद्युतीकरण की 25 केवी एसी प्रणाली को एक मानक के रूप में अपनाने का फैसला किया था| लेकिन क्या इससे पहले इलेक्ट्रिक ट्रेन भारत में नहीं चलती थी? आइये जानते हैं भारत की पहली इलेक्ट्रिक ट्रेन कब और कहाँ चली: 
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भारत की पहली इलेक्ट्रिक ट्रेन कब चली (First Electric Train in India)

भारत में आजादी से पहले की ग्रेट इंडियन पेनिनसुला रेलवे प्रणाली पर बॉम्बे विक्टोरिया टर्मिनस (अभी के CSMT) और कुर्ला हार्बर के बीच 03 फरवरी 1925 को भारत की पहली इलेक्ट्रिक ट्रेन चली| इस सेक्शन को 1500 वोल्ट डीसी पर विद्युतीकृत किया गया था| 
स्वतंत्रता के बाद के युग में, पहली पंचवर्षीय योजना की अवधि के दौरान 3000 वोल्ट डीसी पर पूर्वी रेलवे के हावड़ा-बर्दवान खंड के विद्युतीकरण का कार्य 1958 में पूरा हुआ था| यूरोप में व्यापक अनुसंधान और परीक्षणों के परिणामस्वरूप, विशेष रूप से फ्रांसीसी रेलवे (एसएनसीएफ) में, कर्षण की 25 केवी एसी प्रणाली विद्युतीकरण की एक किफायती प्रणाली के रूप में उभरी और भारतीय रेलवे ने 1957 में विद्युतीकरण की 25 केवी एसी प्रणाली को एक मानक के रूप में अपनाने का फैसला किया| 

सेंट्रल आर्गेनाइजेशन फॉर रेलवे इलेक्ट्रिफिकेशन यानि 'कोर' ने मिशन क्षेत्र के रूप में दिसंबर 2023 तक भारतीय रेलवे के सभी बड़े मार्गों का विद्युतीकरण करने की योजना बनाई है| भारतीय रेलवे ने 2021-22 में 6366 रनिंग किलोमीटर मार्ग का विद्युतीकरण किया था| 31 मार्च, 2022 तक 52,247 रूट किलोमीटर, जो भारतीय रेलवे के कुल ब्रॉड-गेज नेटवर्क (65,141 आरकेएम) का लगभग 80.20% है, का विद्युतीकरण पूरा हो चूका था|

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